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08/06/2025

शायरा ने खोला अरशद का राज… उसकी करतूत से अपनों को भी आ रही घिन, कइयों को नहीं हो रहा यकीन

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सामूहिक हत्याकांड के आरोपी अरशद के पिता से एक साल पहले जमीन खरीदने वाले अलीम की पत्नी शायरा बानो ने बताया कि रुपये मिलने के बाद ही बदरूद्दीन उर्फ बदर ने घर की वसीयत बेटियों के नाम कर दी थी। इस बात की जानकारी अरशद को हुई तो उसने अपने पिता को ही छत से उल्टा लटका दिया था। उसकी जमकर पिटाई लगाई थी। तब किसी तरह पड़ोसियों ने ही पिता को बचाया था। तब से अरशद का जुल्म बहनों और मां पर ज्यादा बढ़ गया था। वहीं पुलिस ने मामा आलम से अरशद से मिलने के लिए पूछा तो उन्होंने इनकार कर दिया।

 

फातिमा ने बताया कि बदरूद्दीन के घर में पहले एक ही कमरा बना हुआ था। एक साल पहले ही जमीन बेचने के बाद उसने मकान बनवाया था। तभी बेटियों के नाम वसीयत कर दी थी। जब अरशद को इसकी जानकारी हुई तो वह बौखला गया। उसने घर को ही कैदखाना बना दिया। पिता के साथ भी कई बार मारपीट की थी। अरशद से घर में सभी डरते थे। वह किसी को बोलने तक नहीं देता था। उन्हें आशंका है कि वसीयत के चक्कर में बहनों के साथ मां की भी हत्या कर दी।

 

अरशद की करतूत से अपने भी शर्मसार, मामा बोले- नहीं देखनी भांजे की शक्ल
अरशद से पूछताछ में पता चला कि उसकी ननिहाल सराय दरीन संभल है। पुलिस ने पड़ताल कर अरशद के मामा आलम से संपर्क कर उन्हें घटना की जानकारी दी। आलम ने बताया कि बुधवार शाम चार बजे के करीब उन्हें सूचना मिली। रात 12 बजे के आसपास वे अपने भाई और रिश्तेदारों के साथ निकले। सुबह साढ़े पांच बजे नाका थाने पहुंचे। पुलिसकर्मियों ने पूरी घटना बताई। पुलिस ने आलम से अरशद से मिलने के लिए पूछा तो उन्होंने इनकार कर दिया। बोले, जिसने मेरी बहन और भांजियों को मार डाला, उसकी शक्ल नहीं देखनी।

 

वीडियो में जो कुछ भी दिखा है, सब झूठ है’
नाका पुलिस ने आलम व उनके परिजनों को कई वीडियो दिखाए। वीडियो देखने के बाद ननिहाल पक्ष हतप्रभ रह गया। आलम के चचेरे भाई फैजान ने बताया कि वीडियो में जो कुछ भी दिखा है, सब झूठ है। अरशद और उसके पिता ने खुद को सही साबित करने के लिए गुमराह किया है। उन्होंने बताया कि परिवार के लोगों की हर दो माह पर अरशद की मां अस्मा से बात होती थी। अस्मा ने कभी भी इस बात का जिक्र नहीं किया था कि वे धर्म परिवर्तन करना चाहते हैं। यही नहीं, बस्ती वालों से विवाद की बात भी कभी नहीं बताई। घर की महिलाओं की जब भी फोन पर बात हुई तो अस्मा ने किसी परेशानी का जिक्र नहीं किया था। अस्मा छह भाई-बहनों में सबसे बड़ी थीं।

 

ये है मामला
आगरा निवासी अरशद अपने पिता मां और चार बहनों के साथ 30 दिसंबर को लखनऊ आया था। सभी चारबाग स्थित होटल में ठहरे थे। 31 दिसंबर की रात में पिता के साथ मिलकर अरशद ने चार बहनों और मां की हत्या कर दी थी। आरोपी ने हत्या के बाद वीडियो भी बनाया था और बस्ती के लोगों पर परेशान करने समेत कई आरोप लगाए थे।

 

हवालात में करवटें बदलता रहा अरशद
नाका थाने के हवालात में बंद अरशद बेहद शातिर है। इसका अंदाजा पुलिस अधिकारियों को उससे पूछताछ के बाद हो चुका था। यही वजह रही कि हवालात में बंद अरशद की निगरानी के लिए अलग से एक सिपाही को मुस्तैद किया गया था। डर था कि आरोपी खुद के साथ कहीं कुछ गलत न कर ले। हवालात में बंद अरशद रातभर करवटें बदलता रहा।

 


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